Birthday Special Mahendra Singh Dhoni (MSD) - महेन्द्र सिंह धोनी


महेंद्र सिंह धोनी (7th जुलाई 1981)

भारतीय क्रिकेट टीम वर्तमान में खेल की दुनिया की सबसे प्रतिस्पर्धी टीमों में से एक है। इसका एक कारण हैं भारतीय टीम के पूर्व कप्तान एमएस धोनी जिन्होंने टीम को एकजुट रखा और उन्हें एक नई ऊर्जा दी, जिससे टीम की मौजूदा सफलता की नींव रखी गई।

झारखंड में जन्मे हार्ड हिटर जो बेशक दुनिया के सबसे अच्छे फिनिशर्स और मेन इन ब्लू के तीनों प्रारूपों में सबसे प्रभावशाली खिलाड़ियों में से एक हैं।

पूर्व भारतीय कप्तान एमएस धोनी अपना 38वां जन्मदिन मनाने जा रहे हैं। वे इस वक़्त इंग्लैंड में वर्ल्ड कप 2019 में भारतीय टीम का हिस्सा हैं। एक कप्तान के रूप में, उन्होंने भारत को लगभग सभी आईसीसी ट्राफियां जिताई हैं। 2011 में उनकी कप्तानी में भारत ने विश्व कप के 27 साल के सूखे को समाप्त किया। पिछले कुछ वर्षों से उन्होंने अपनी खुद की एक अलग विरासत बनाई है।

धोनी का जन्म 7 जुलाई 1981 को रांची, झारखंड में पान सिंह और देवकी देवी के घर हुआ था। उनकी एक बहन जयंती और एक भाई नरेंद्र सिंह धोनी हैं। मूल रूप से उनका परिवार उत्तराखंड के अल्मोड़ा जिले से था। उन्होंने झारखंड के रांची में डीएवी जवाहर विद्या मंदिर स्कूल से पढ़ाई की थी। प्रारंभ में, अपने स्कूल के दिनों में, वह बैडमिंटन और फुटबॉल खेला करते थे और वे फुटबॉल टीम के गोलकीपर थे। एक बार, उन्हें अपने फुटबॉल कोच द्वारा एक स्थानीय क्रिकेट क्लब के लिए क्रिकेट खेलने के लिए भेजा गया था। जहाँ उन्होंने अपने विकेट-कीपिंग कौशल से सभी को प्रभावित किया, जिसके परिणामस्वरूप उन्हें कमांडो क्रिकेट क्लब में विकेटकीपर का नियमित पद मिला। 2001 से 2003 तक, उन्होंने मिदनापुर (W) में दक्षिण पूर्व रेलवे के अंतर्गत खड़गपुर रेलवे स्टेशन पर एक ट्रेन टिकट परीक्षक (TTE) के रूप में काम किया। उन्हें 2004 में भारतीय क्रिकेट टीम के लिए खेलने के लिए चुना गया, जहाँ उन्होंने बांग्लादेश के खिलाफ चिट्टागोंग में अपना एकदिवसीय मैच खेला।

धोनी ने अपने करियर की शुरुआत 1998 में बिहार अंडर -19 टीम के लिए खेलकर की थी। वह ईस्ट ज़ोन अंडर -19 टीम के लिए भी खेले। 1999-2000 में उन्होंने रणजी ट्रॉफी में बिहार के लिए खेलना शुरू किया। देवधर ट्रॉफी, दलीप ट्रॉफी और केन्या के भारत दौरे में उनके शानदार प्रदर्शन ने राष्ट्रीय टीम के चयनकर्ताओं का ध्यान उनकी ओर आकर्षित किया।


उनकी उपलब्धियां हैं:

  • उन्हें कई मौकों पर मैन ऑफ़ द सीरीज़ और मैन ऑफ़ द मैच अवार्ड्स भी मिले हैं। 2008 में ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ उन्हें पहला टेस्ट मैन ऑफ़ द मैच अवार्ड मिला। 2005-06 में भारत की एकदिवसीय श्रृंखला में श्रीलंका में उन्हें अपना पहला मैन ऑफ द सीरीज पुरस्कार मिला। वह 2008 और 2009 में लगातार वर्षों तक ICC प्लेयर ऑफ द ईयर अवार्ड, 2007 में राजीव गांधी खेल रत्न अवार्ड और 2009 में पद्म श्री अवार्ड भी प्राप्त कर चुके हैं।
  • एमएस धोनी एकमात्र ऐसे भारतीय कप्तान हैं, जिन्होंने भारत को ICC के तीनों बड़े मुकाबलों में जीत दिलाई है। पहली बार कप्तानी करते हुए 2007 में टीम को टी-20 विश्व कप जिताया, 2011 में भारतीय टीम की अगुवाई करते हुए घरेलू मैदान पर विश्व कप की जिताया और  2013 की चैंपियंस ट्रॉफी जिताई। 2013 चैंपियंस ट्रॉफी में भारत एकमात्र टीम थी जो एक भी मैच नहीं हारी थी। फाइनल में, भारत ने इंग्लैंड को 5 रनों से हराया और ट्रॉफी अपने नाम की।
    • धोनी की कप्तानी में, भारत ने 2009 में पहली बार टेस्ट क्रिकेट रैंकिंग में शीर्ष स्थान हासिल किया। धोनी 27 टेस्ट जीत के साथ सबसे सफल भारतीय टेस्ट कप्तान हैं, जिन्होंने सौरव गांगुली के 21 के रिकॉर्ड को  तोडा। एमएस धोनी एकमात्र गैर-ऑस्ट्रेलियाई कप्तान हैं, जिन्होंने 100 से अधिक मैचों में अपनी टीम का नेतृत्व किया है। वह रिकी पोंटिंग और एलन बॉर्डर के बाद 100 मैच जीतने वाले तीसरे कप्तान भी हैं। बाकी दोनों ऑस्ट्रेलियाई कप्तान थे।
    • उन्होंने एक विकेट कीपर द्वारा सर्वाधिक स्कोर 183 रन बनाकर एडम गिलक्रिस्ट का रिकॉर्ड तोड़ा। धोनी सचिन तेंदुलकर, सौरव गांगुली और राहुल द्रविड़ के बाद 10,000 एकदिवसीय रनों तक पहुंचने वाले चौथे भारतीय बल्लेबाज़ और दूसरे विकेटकीपर बल्लेबाज़ हैं। वहीं टेस्ट मैच में 4000 टेस्ट रन तक पहुंचने वाले पहले भारतीय विकेटकीपर बल्लेबाज़ हैं। वह एकमात्र ऐसे वनडे कप्तान हैं जिन्होंने सातवें नंबर पर खेला और एक शतक बनाया। उन्होंने दिसंबर 2012 में पाकिस्तान के खिलाफ खेलते हुए ऐसा किया था।
    • उनकी कप्तानी में भारत 726-9 के सर्वोच्च टेस्ट स्कोर तक पहुंचा।
    • धोनी के नाम एक पारी में एक भारतीय विकेटकीपर द्वारा अधिकतम स्टंपिंग करने का रिकॉर्ड भी है। टेस्ट करियर में किसी भी विकेट-कीपर द्वारा धोनी ने सबसे अधिक स्टम्पिंग (38) की है।
    • 1 नवंबर, 2011 को, भारतीय प्रादेशिक सेना(The Indian Territorial Army) ने धोनी को मानद(Honorary) रैंक लेफ्टिनेंट कर्नल से सम्मानित किया, जिसके बाद धोनी कपिल देव के बाद इस प्रतिष्ठित पुरस्कार को प्राप्त करने वाले एकमात्र कप्तान बन गए।
    • उन्हें 2009, 2010 और 2013 में आईसीसी विश्व टेस्ट XI के कप्तान के रूप में नामित किया गया था। उन्हें ICC विश्व ODI XI टीमों में 8 बार और बतौर कप्तान 5 बार चुना गया है।

    एक कप्तान के रूप में निवृत्ति(Retirement)

    मेलबर्न में भारत और ऑस्ट्रेलिया के बीच ड्रा टेस्ट के बाद धोनी ने 30 दिसंबर 2014 को अंतर्राष्ट्रीय टेस्ट क्रिकेट से संन्यास की घोषणा की। और उन्होंने वनडे और टी -20 मैचों पर बेहतर ध्यान केंद्रित करने की कोशिश की। हालाँकि, 04 जनवरी 2017 को, उन्होंने भारतीय एकदिवसीय और T20I क्रिकेट टीमों के कप्तान के पद से हट गए।


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